dhuno tape ram ko | धुणो तपे राम को

dhuno tape ram ko | धुणो तपे राम को 



 धुणो तपे राम को होवे कोई बड़ भागी

 जा ने साचा सतगुरु मिल ग्या बांकी सुरता जागी ।।


इस धूणे पर मीरां तप गयी तप गयी करमा बाई

सुआ पढ़ावत गणिका तापी जांकि लगन राम स लागी

धुणो तपे राम को...


इस धूणे पर सुरां तप गया तप गया सजन कसाई

नामदेव जी ऐसा ताप्या जांकि लगन राम से लागी

धुणो तपे राम को...


इस धूणे पर गोरक्ष तप गया तप गया नानक साईं

गोपीचंद भरथरी ताप्या जांकि लगन राम से लागी

धुणो तपे राम को..


इस धूणे पर नरसी तप गया तप गया सेना नाई

दास कबीरा ऐसा ताप्या जांकि लगन राम से लागी

धुणो तपे राम को...

pag ghunghroo bandh meera nachi | पग घुंघरू बांध मीरा नाची

 pag ghunghroo bandh meera nachi | पग घुंघरू बांध मीरा नाची


पग घुँघरू बाँध मीरा नाची रे।

मैं तो मेरे नारायण की, आपहि हो गई दासी रे॥

पग घुँघरू बाँध मीरा नाची रे।

लोग कहै मीरा भई बावरी,

न् यात कहै कुलनासी रे॥

पग घुँघरू बाँध मीरा नाची रे।

बिष का प्याला राणाजी भेज्या,

पीवत मीरा हाँसी रे॥

पग घुँघरू बाँध मीरा नाची रे।

'मीरा' के प्रभु गिरिधर नागर,

सहज मिले अविनासी रे॥

पग घुँघरू बाँध मीरा नाची रे।

Mangal ki mool bhawani | मंगल की मूल भवानी, शरणा तेरा है

 

मंगल की मूल भवानी, शरणा तेरा है।

शरणा तेरी है, आसरा तेरा है।।

मैया हे ब्रह्मा की पुत्री, लेकर ज्ञान सुरग से उतरी।

आज तेरी कथा बनाकर सुधरी, प्रथम मनाया हूँ।।1।।

​मैया भवन बनाया जालिका हार गुंथ ल्याय मालिका।

ध्यान धर कलकत्ता वाली को, पुष्प चढ़ाया है।।2।।

​मैया महिषासुर को मार्या, अपने बल से धरन पछाड़या।

 हाथ लिये खांडा दुधारा, असुर संहारया है।।3।।

​कहता शंकर जटोलि वाला, हर दम रटे गुरु की माला।

खोल मेरे हृदय का ताला, विद्या वर पाया है।।4।।

Shyam tumse milne ka | श्याम तुमसे मिलने का सत्संग ही बहाना है

  



श्याम तुमसे मिलने का सत्संग ही बहाना है 

दुनिया वाले क्या जाने अपना रिश्ता पुराना है ।। टेर।।

मथुरा में ढूंढा तुझे गोकुल में पाया है

वृंदावन की गलियों में मेरे श्याम का ठिकाना है ।।1।।

रामायण में ढूंढा तुझे भागवत में पाया है

गीता के पन्नों में मेरे श्याम का ठिकाना है ।।2।।

ग्वालों में ढूंढा तुझे गोपियों में पाया है

राधा जी के हृदय में मेरे श्याम का ठिकाना है ।।3।।

मंदिर में ढूंढा तुझे गलियों में पाया है

भक्तों के हृदय में मेरे श्याम का ठिकाना है ।।4।।

सांवरा जब मेरे साथ है | Sanwara Jab Mere Saath Hai

 सांवरा जब मेरे साथ है | Sanwara Jab Mere Saath Hai



​सांवरा जब मेरे साथ है, हमको डरने की क्या बात है।

इसके रहते कोई कुछ कहे, बोलो किसकी यह औकात है॥

​छाये काली घटाए तो क्या, इसकी छतरी के नीचे हूँ मैं।

आगे आगे यह चलता मेरे, मेरे मालिक के पीछे हूँ मैं।

इसने पकड़ा मेरा हाथ है, मुझको डरने की क्या बात है॥

​इसकी महिमा का वर्णन करूँ, मेरी वाणी में वो दम नहीं।

जब से इसका सहारा मिला, फिर सताए कोई ग़म नहीं।

बाबा करता करामत है, हमको डरने की क्या बात है॥

​क्यों मैं भटकूं यहाँ से वहां, इसके चरणों में है बैठना।

झूठे स्वार्थ के रिश्ते सभी, श्याम प्रेमी से रिश्ता बना।

ये करता मुलाकात है, हमको डरने की क्या बात है॥

​जहाँ आनंद की लगती झड़ी, ऐसी महफ़िल सजाता है ये।

'बिन्नू' क्यों ना दीवाना बने, ऐसे जलवे दिखाता है ये।

दिल चुराने में विख्यात है, हमको डरने की क्या बात है॥